रतलाम, वंदेमातरम् न्यूज। 78 वर्ष पूर्व रतलाम के मजदूर और किसानों ने मिल बंदी, महंगाई और राशन कटौती के विरुद्ध तत्कालीन पूंजीवादी, सामंत शाही सरकार के खिलाफ आवाज बुलंद करते हुए एक विशाल आंदोलन किया था। मजदूर और किसानों के इस आंदोलन को बर्बरता पूर्वक दबाया गया। तत्कालीन व्यवस्था ने गोली चलाकर , मांगीलाल सूरजमल, दसाओ ठाकुर, नसीर बांसवरावाल, मंगल सिंह, अब्दुल रशीद 5 श्रमिकों की बर्बरता पूर्वक हत्या कर दी।
श्रम संगठनों की संयुक्त समिति अध्यक्ष अश्विनी शर्मा ने जानकारी देते हुए बताया कि प्रतिवर्ष शहर के ट्रेड यूनियन संगठनों द्वारा शहीदों को नमन किया जाता है। इस कार्यक्रम में वरिष्ठ कॉमरेड जसविंदर सिंह ने संबोधित करते हुए कहा कि आजादी के 78 वर्ष बीतने के बाद भी स्थितियां में कोई बदलाव नहीं आया है आज भी महंगाई एवं रोजगारों की कमी है। जो की चिंता का विषय है। वर्तमान में सरकार द्वारा निरंतर प्राइवेटाइजेशन ए-वन पूंजीपतियों को लाभ देने हेतु नीतियां बनाई जा रही हैं इससे अमीर और अमीर हो रहा है एवं गरीब और गरीब हो रहा है। इस अवसर पर वरिष्ठ कॉमरेड एमएल नागावत, चरणसिंह ने भी अपने विचार रखे। श्रद्धांजलि सभा में एमआर यूनियन के अविनाश पोरवाल, रवींद्र शर्मा, पेंशनर्स संघ के कीर्ति शर्मा, सीटू के संजय व्यास, सज्जन मिल संघर्ष समिति के कॉमरेड मदनलाल यादव सहित विभिन्न ट्रेंड यूनियन साथी उपस्थिति थे।