– किन्नरों पर अवैध वसूली का जल्द एक और प्रकरण हो सकता दर्ज, पुलिस के पास फिर पहुंची शिकायत
रतलाम, वंदेमातरम् न्यूज। अवैध वसूली को लेकर पुलिस कार्रवाई से नाराज किन्नरों ने बुधवार को लेबड़-नयागांव फोरलेन स्थित चिकलिया टोल नाके पर हंगामा किया। बिलपांक पुलिस की समझाइश के बावजूद नहीं मानने और कपड़े उतारने के साथ अभ्रदता करने पर वरिष्ठ अधिकारियों के निर्देश पर 9 किन्नरों के खिलाफ प्रतिबंधात्मक की कार्रवाई और पूर्व में दर्ज अपराध में फरार 2 किन्नर कुल 11 को जेल भेज दिया है। सूत्रों के अनुसार किन्नरों के उगाई के आतंक से परेशान एक शिकायत और पुलिस के पास पहुंची है। संभावना है कि उक्त शिकायत भी काफी गंभीर है, जो कि पुलिस की एफआईआर का आधार बनेगी।
बता दें 20 अप्रैल 2024 को अवैध वसूली का किन्नरों पर प्रकरण दर्ज हुआ है। इसके बाद नाराज किन्नर फरियादी के खिलाफ अवैध मांग की शिकायत करने एसपी राहुल कुमार लोढ़ा के पास पहुंचे थे। मामले में मंगलवार को भी किन्नरों द्वारा आचार संहिता का उल्लंघन किया था। पुलिस ने आचार संहिता उल्लंघन करने पर किन्नरों के खिलाफ कलेक्टर के आदेश का पालन नहीं करने पर धारा 188 में कार्रवाई की थी। बुधवार सुबह नाराज किन्नर बड़ी संख्या में पहले बिलपांक थाने और फिर टोल नाके पहुंचे और वहां पर हंगामा किया। थाना प्रभारी प्रीति कटारे और ग्रामीण एसडीओपी से बातचीत के दौरान नाराज किन्नरों ने झूमाझटकी भी की। सूचना पर एडिशनल एसपी राकेश खाखा भी अमले के साथ पहुंचे लेकिन समझाइश पर किन्नर नहीं मानें। इसके बाद पुलिस वाहन में सभी किन्नरों को बैठाकर स्टेशन रोड थाने लाया गया। यहां पर भी किन्नरों ने जमकर हंगामा किया। काफी देर तक थाने पर एडिशनल एसपी खाखा सहित अन्य अधिकारियों ने उन्हें समझाने की कोशिश की, लेकिन किन्नरों द्वारा एक नहीं सुनी। इस दौरान किन्नरों को बताया कि आप नियमानुसार किसी के घर तीज-त्योहर के अलावा बच्चे के जन्म और विवाह समारोह में जाते हैं तो उन्हें नहीं रोका जाता है। पिछले कुछ माह से चिकलिया टोल नाके पर वाहन चालकों और परिवार से अभ्रदता कर विवाद कर जबरदस्ती वसूली करना और रुपए नहीं देने पर मारपीट करना कानून के नियमों के विपरित है। इसके बाद भी नाराज किन्नर हंगामा कर तालियां पिटने लगे। अंतत: समझाइश काम नहीं आने के बाद एडिशनल एसपी खाखा ने अधीनस्थों को किन्नरों के खिलाफ प्रतिबंधात्मक कार्रवाई के आदेश दिए ।
टोल नाके पर रुपए नहीं मिलने पर करते थे मारपीट
धराड़ निवासी हारून (43) पिता नाहर शाह ने 20 अप्रैल को बिलपांक थाने में रिपोर्ट दर्ज करवाई थी। फरियादी हारून ने पुलिस को बताया था कि वह 18 अप्रैल की रात करीब 11 बजे परिवार के साथ कार से घर लौट रहा था। चिकलिया टोल पर किन्नरों ने उनसे रुपए मांगे। हारून ने कहा कि मैं धराड़ का ही निवासरत हूं। मेरा तो दिन-रात आना-जाना हैं, मैं रुपए क्यों दूं। इस बात पर किन्नर कृतिका, गौरी, दिव्या और मनीषा सभी निवासी ग्राम नलकुई गालियां देकर विवाद करने लगे थे। परिवार के साथ हारून के होने के बावजूद आरोपी किन्नरों ने अपने कपड़े तक उठा दिए तब उन्हें समझाने का प्रयास किया था। इसके बाद भी किन्नर नहीं मानें और उन्होंने हारून के साथ मारपीट की थी। पुलिस ने हारून की शिकायत पर चार किन्नरों के खिलाफ अवैध वसूली सहित अन्य धाराओं में प्रकरण दर्ज किया था। इसके बाद किन्नरों ने फरियादी हारून के खिलाफ शिकायत करने के साथ बुधवार को जमकर हंगामा किया।
यह 11 किन्नर पहुंचे जेल
अवैध वसूली के खिलाफ एफआईआर दर्ज होने से नाराज किन्नर रागिनी, दिशा, जोया, अफ्सरा, काजल, सोनू, देविका, डिंपल, खुशी द्वारा हंगामा कर शांति भंग की। इनके खिलाफ प्रतिबंधात्मक कार्रवाई करते हुए धारा 151 में गिरफ्तार कर जेल भेजा। इसके अलावा 20 अप्रैल को बिलपांक थाने में हुई एफआईआर के बाद भी बुधवार को हंगामा करने पहुंचे किन्नरों में दो आरोपी किन्नर मनीषा और गौरी भी शामिल थी। पुलिस ने मामले में चार दिन से फरार चल रही किन्नर मनीषा और गौरी को भी गिरफ्तार कर कुल 11 किन्नरों को जेल भेजा।