– लचर कार्यशैली को लेकर कलेक्टर लिखेंगे नगरीय विकास विभाग को पत्र, अब भाजपा जनप्रतिनिधि पर भी प्रश्नचिन्ह
रतलाम, वंदेमातरम् न्यूज। रतलाम नगर निगम आयुक्त और अधीनस्थों की मनमानी का सिलसिला बदस्तूर है। फाइलों को घर मंगाकर मनमाने तरीके से कार्य करने वाले निगम आयुक्त एपीएस गहरवार एक बार फिर अपनी लापरवाही और मनमानी कार्यशैली से सुर्खियों में है। इस बार कलेक्टर ने निगम प्रशासन की कार्यशैली पर सवाल खड़े करते हुए भाजपा जनप्रतिनिधियों पर प्रश्नचिन्ह लगा दिया है। जाहिर है कि महापौर प्रह्लाद पटेल और निगम अध्यक्ष मनीषा शर्मा सहित एमआईसी का नगर निगम आयुक्त गहरवार की कार्यशैली को लेकर किसी प्रकार का अंकुश नहीं है।
कलेक्टर भास्कर लाक्षाकार द्वारा नगर निगम के कार्यों की समीक्षा की गई। कलेक्टर लाक्षाकार द्वारा विभिन्न कार्यों की जांच नगर निगम को सौंपी जाने तथा जांच पूर्ण नहीं करने पर सख्त नाराजगी व्यक्त की। कलेक्टर ने अन्य अधिकारियों को जांच कार्य करने के निर्देश दिए। इसके अलावा मुख्यमंत्री हेल्पलाइन में शिकायतों के निराकरण में रुचि नहीं लिए जाने पर कलेक्टर ने कहा कि नगर निगम के संबंध में नगरीय विकास विभाग को पत्र लिखा जाएगा कि रतलाम निगम द्वारा मुख्यमंत्री हेल्पलाइन में शिकायतों का निराकरण नहीं किया जा रहा है। इसके अलावा महिला बाल विकास विभाग द्वारा भी मुख्यमंत्री हेल्पलाइन में शिकायतों के निराकरण नहीं किए जाने पर कलेक्टर ने सख्त नाराजगी व्यक्त की। मुख्यमंत्री हेल्पलाइन में जिले के नगर पालिका अधिकारियों द्वारा अपेक्षित कार्य नहीं किए जाने पर कलेक्टर ने नाराजगी व्यक्त करते हुए शहरी विकास अभिकरण अधिकारी को निर्देशित किया कि वह नगर पालिका अधिकारियों की बैठक बुलाकर मुख्यमंत्री हेल्पलाइन में लंबित प्रकरणों के शीघ्र निराकरण के लिए समीक्षा करें। बताया गया कि जावरा नगर पालिका की 100 दिवस से ऊपर 67 शिकायतें लंबित है। इसी प्रकार आलोट में 49 शिकायतें लंबित हैं।
जिला शिक्षा अधिकारी की रोकी सैलरी
शिक्षा विभाग की समीक्षा के दौरान जिला शिक्षा अधिकारी केसी शर्मा द्वारा आदेशों का पालन नहीं करने का मामला भी प्रकाश में आया है। कलेक्टर ने शर्मा की जारी माह की सैलरी रोकेने तथा एक अन्य प्रकरण में तीन दिवस का वेतन राजसात करने के निर्देश कलेक्टर ने दिए। इसके अलावा अब दुकान विशेष से शैक्षणिक सामग्री क्रय करने हेतु पालकों को विवश नहीं कर पाएंगे स्कूल प्रबंधन। कलेक्टर लाक्षाकार ने सख्ती बरतने के निर्देश दिए। उन्होंने जिले के सभी एसडीएम तथा शिक्षा विभाग को निर्देशित किया की वह सुनिश्चित करें कि प्राइवेट स्कूल अपनी मनमर्जी से किसी दुकान विशेष से विद्यार्थियों को शैक्षणिक सामग्री खरीदने के लिए विवश नहीं करें। कलेक्टर ने बताया कि प्राइवेट स्कूलों में शैक्षणिक सामग्री विद्यार्थियों द्वारा क्रय करने के सम्बन्ध में जिला दंडाधिकारी स्तर से धारा 144 के तहत आदेश जारी किया जा चुका है। इस आदेश का पूर्णतः पालन सभी एसडीएम तथा जिला शिक्षा विभाग द्वारा करवाया जाएगा। इसी तरह प्राइवेट स्कूलों में फीस की एक निश्चित सीमा निर्धारित रहेगी, शासन द्वारा जारी नियमों के तहत ही प्राइवेट स्कूल एक सीमा तक फीस तथा पैनल्टी वसूल कर सकेंगे। इस संबंध में भी सख्ती से नियमों का पालन सुनिश्चित किया जाए।
यह भी निर्देश हुए जारी
कलेक्टर ने समीक्षा के दौरान कहा कि अब अपर कलेक्टर विभागों के भू आवंटन के मामलों में समन्वय करेंगे। ताकि भूमि के आवंटन में देरी नहीं हो। इस संबंध में कलेक्टर द्वारा लोक निर्माण विभाग और वन विभाग के मध्य भू आवंटन को लेकर उचित समन्वय नहीं पाए जाने पर दोनों विभागों के प्रति नाराजगी व्यक्त की गई। बैठक में विद्यार्थियों की छात्रवृत्ति स्वीकृति के संबंध में अनुमोदन समय सीमा में नहीं पाए जाने पर समीक्षा के दौरान कलेक्टर ने जावरा पॉलिटेक्निक कॉलेज के प्राचार्य तथा एक अन्य स्कूलों के प्राचार्यों का वेतन रोकने के निर्देश दिए। बैठक में कलेक्टर ने उनके द्वारा विगत दिनों शहर में किए गए रसोई गैस सिलेंडर गोडाउन के निरीक्षण पर चर्चा करते हुए जिला आपूर्ति अधिकारी को निर्देशित किया कि शहर में मौजूद गैस गोडाउन को शहर के बाहर शिफ्ट किए जाने हेतु कार्य योजना बनाकर मंगलवार दोपहर तक प्रस्तुत करें।
तहसीलदारों को लगाई फटकार
जिले में संचालित राजस्व महा अभियान की प्रगति की समीक्षा में कलेक्टर लाक्षाकार ने विशेष रूप से नामांतरण, बटवारा, सीमांकन तथा तरमिम प्रकरणों के निपटारे की समीक्षा की। इस दौरान कलेक्टर द्वारा राजस्व कार्यो में विशेष प्रगति नहीं पाए जाने पर तहसीलदारों को फटकार लगाई। कई तहसीलदारों की वेतन वृद्धि रोकने के निर्देश दिए। बैठक में कलेक्टर ने बिंदुवार राजस्व कार्यों की समीक्षा की। इस दौरान कलेक्टर ने कहा कि राजस्व अधिकारी के न्यायालय में यदि प्रकरण लंबित मिलते हैं तो इसका आशय यह है कि राजस्व अधिकारी का पटवारी पर नियंत्रण नहीं है। सीमांकन प्रकरणों की समीक्षा में कलेक्टर ने बिलपांक नायब तहसीलदार मनोज, सैलाना तहसीलदार कन्नौज, नामली तहसीलदार शर्मा के प्रति विशेष रूप से नाराजगी व्यक्त की। कलेक्टर ने कहा कि शासन द्वारा आप लोगों को समस्त सुविधाएं प्रदान की गई है परंतु फिर भी आप लोगों के द्वारा कार्य नहीं किया जा रहा है यहां अत्यंत आपत्तिजनक है।